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पीसीपीएनडीटी अधिनियम तथा बेटियों को सशक्त करने हेतु शासन द्वारा किए जा रहे प्रयासों की मीडिया कार्यशाला में दी गयी जानकारी

ज़िला चिकित्सालय के एनएचएम सभाकक्ष में आयोजित मीडिया कार्यशाला में प्रिंट एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के प्रतिनिधियों को गर्भधारण पूर्व एवं प्रसव पूर्व निदान तकनीक अधिनियम तथा महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजनांतर्गत संचालित गतिविधियों की विस्तार से जानकारी दी गयी। कार्यशाला में जिला मीडिया अधिकारी सीएमएचओ कार्यालय के पी सिंह ने बताया कि पीसीपीएनडीटी अधिनियम के तहत भ्रूण का लिंग परीक्षण करना एवं कराना क़ानूनन अपराध है। इसमें 3 से 5 वर्ष तक की सजा, 5 हज़ार से 1 लाख रुपए तक जुर्माना हो सकता है। साथ ही इस सम्बंध में सूचना देने वाले को 1 लाख रुपए दिए जाने का भी प्रावधान है। इस दौरान सहायक संचालक महिला सशक्तिकरण मंज़ुशा शर्मा ने महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजनांतर्गत संचालित गतिविधियों से मीडिया प्रतिनिधियों को अवगत कराया। आपने बेटियों को सुरक्षित संरक्षित एवं सशक्त करने के अभियान में जनजागरूकता लाने हेतु मीडिया प्रतिनिधियों से सहयोग प्रदान करने का आह्वान किया। इस दौरान महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा मीडिया प्रतिनिधियों को बेटी जागरूकता किट का प्रदाय किया गया। कार्यशाला में ज़िला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ मोहन सिंह श्याम सहित अनूपपुर ज़िले के प्रिंट एवं इलेक्ट्रोनिक मीडिया के प्रतिनिधि उपस्थित थे।
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